Hare Rama Hare Krishna

Hare Rama Hare Krishna

“हरे राम हरे कृष्ण” ये एक महा मंत्र है जिसे स्वयं भगवान शिव ने अपने प्रिय मित्र भगवान श्री हरि के लिए गाया है। भगवान शिव नारायण स्वामी को बहुत ही प्रेम करते हैं वे दोनों दिखने मात्र में अलग हैं परंतु दोनों हमेशा एक शरीर के दो भाग हैं।

हमने तस्वीरों में टीवी पर अक्सर देखा है कि भोलेनाथ का ध्यान मगन रहता है तपस्या में लीन रहते हैं, क्या हमने कभी ये सोचा कि वे किसके ध्यान में लीन रहते हैं, क्या सोचते हैं, ऐसा क्या करते हैं जो वो इतने वर्षों एवं कलपो तक ध्यान मगन रह लेते हैं, वही हमें देख लीजिए 5 मिनट भी ध्यान लगा के कहीं बैठे नहीं जैसे शिव शंकर बैठे रहते हैं।

पुराणों के अनुसर शिव शंकर नारायण स्वामी का ध्यान करते हैं, जब वे ध्यान मगन होते हैं और “हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे, हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण, हरे हरे” का जप करते रहते हैं, ऐसा करने से उनके मन को आत्यन्त सुख प्राप्त होता है।

Hanuman Aarti

Hanuman Aarti

आरती कीजै हनुमान लला की। दुष्ट दलन रघुनाथ कला की ॥ जाके बल से गिरवर कांपे। रोग दोष जाके निकट न झांके ॥ Download Hanuman Aarti in Telugu, Marathi, Tamil, English and in Hindi

Maha Lakshmi Mantra

Maha Lakshmi Mantra - ॐ श्रीं महालक्ष्म्यै नमः
Maha Lakshmi Gayatri Mantra - ॐ महालक्ष्म्यै च विद्महे विष्णुपत्नी च धीमहि। तन्नो लक्ष्मी: प्रचोदयात्॥
Shree Lakshmi Beej Mantra - ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद। श्रीं ह्रीं श्रीं ॐ महालक्ष्म्यै नमः॥

Kanakadhara Stotram

अङ्गं हरेः पुलकभूषणमाश्रयन्तीभृङ्गाङ्गनेव मुकुलाभरणं तमालम्। अङ्गीकृताऽखिल-विभूतिरपाङ्गलीलामाङ्गल्यदाऽस्तु मम मङ्गळदेवतायाः॥1॥ मुग्धा मुहुर्विदधती वदने मुरारेःप्रेमत्रपा-प्रणहितानि गताऽऽगतानि। मालादृशोर्मधुकरीव महोत्पले यासा मे श्रियं दिशतु सागरसम्भवायाः॥2॥

108 Names of Lord Ram

|| ॐ रामाय नमो नमः, ॐ रामभद्राय नमो नमः, ॐ रामचन्द्राय नमो नमः, ॐ शश्वताय नमो नमः, ॐ राजीवलोचनाय नमो नमः, ॐ श्रिमते नमो नमः, ॐ राजेन्द्राय नमो नमः, ॐ रघुपुंगवाय नमो नमः, ॐ जानकीवल्लभाय नमो नमः, ॐ जयाय नमो नमः ||

108 names of Vishnu

|| ॐ विष्णवे नमः, ॐ लक्ष्मीपतये नमः, ॐ वासुदेवाय नमः, ॐ सनातनाय नमः, ॐ नारायणाय नमः, ॐ पद्मनाभाय नमः, ॐ हृषीकेशाय नमः, ॐ गोविन्दाय नमः, ॐ मधुसूदनाय नमः, ॐ त्रिविक्रमाय नमः, ॐ वामनाय नमः ||

108 Names of Durga

|| ॐ सती नमो नमः, ॐ साध्वी नमो नमः, ॐ भवप्रीता नमो नमः, ॐ भवानी नमो नमः, ॐ भवमोचनी नमो नमः, ॐ आर्या नमो नमः, ॐ दुर्गा नमो नमः, ॐ जया नमो नमः, ॐ आद्या नमो नमः, ॐ त्रिनेत्रा नमो नमः, ॐ शूलधारिणी नमो नमः ||

Shani Dev 108 Names

|| ॐ शनैश्चराय नमः, ॐ सूर्यपुत्राय नमः, ॐ भास्करनन्दनाय नमः, ॐ महाकायाय नमः, ॐ कृष्णाङ्गाय नमः, ॐ रक्तनेत्राय नमः, ॐ यमाग्रजाय नमः, ॐ छायात्मजाय नमः, ॐ औदायिकाय नमः, ॐ स्थूलकण्ठाय नमः, ॐ नीलवर्णाय नमः ||

What Does Shivoham Mean?

I am neither the sky nor the earth nor the fire nor the air; I am the form of the bliss of consciousness. I am auspicious. I am neither the mind, nor the intellect, nor the ego, nor the consciousness I am neither ears, nor tongue, nor nostrils, nor eyes I am neither sky, nor earth, nor fire, nor air I am pure consciousness, eternal, infinite Shiva.

Shivoham Mantra

मनोबुद्धयहंकारचित्तानि नाहम् न च श्रोत्र जिह्वे न च घ्राण नेत्रे, न च व्योम भूमिर्न तेजॊ न वायु: चिदानन्द रूप: शिवोऽहम् शिवोऽहम् ॥1॥ न च प्राण संज्ञो न वै पञ्चवायु: न वा सप्तधातुर्न वा पञ्चकोश:, न वाक्पाणिपादौ  न चोपस्थपायू चिदानन्द रूप:शिवोऽहम् शिवोऽहम् ॥2॥

Subramanya Karavalamba Stotram

भुजङ्गेशयानं सुराधीशवन्द्यं गिरीशं गिरीशस्य सुपुत्रमाद्यम्। शरीरं कलत्रं सदा देवतायाः शिवं शङ्करं शङ्करं सुब्रह्म्यम्॥१॥ नमामि प्रपद्ये सदा भक्तवत्सलं सुब्रह्मण्यमीशं श्रितानां प्रियेण। मया पाहि सर्पेण वाऽभीष्टदं च प्रणम्रं नमस्ये नमः शार्ङ्गधर्यम्॥२॥

108 Names of Shiva

|| ॐ महादेवाय नमो नमः, ॐ शिवाय नमो नमः, ॐ नीलकण्ठाय नमो नमः, ॐ शंकराय नमो नमः, ॐ रुद्राय नमो नमः, ॐ महेश्वराय नमो नमः, ॐ सदाशिवाय नमो नमः, ॐ त्र्यम्बकाय नमो नमः, ॐ पशुपतिनाथाय नमो नमः, ॐ वृषभध्वजाय नमो नमः, ॐ भैरवाय नमो नमः ||

Saubhagya Lakshmi Ravamma

बुदुट कुंकम रवि बिंबमुग कन्नुल निंडुग काटुक वेलुग काचनहारमु गळमुन मौरयग पीतांबरमुल शोभलु निंडग ॥निंडुग करमुल बंगारु गाजुलु मुद्दलोलुकु वादम्मुल मुव्वलू  || नित्य सुमंगळि नित्यकळ्याणि भक्तजनुल मा कल्पवल्लिवै गलगलमनि सव्वडि जेयग सौभाग्यवतुल सेवलनंदग ॥ || सौभाग्यलक्ष्मी रावम्मा.....

Maha Lakshmi Ashta Stotram

लक्ष्मीं क्षीरसमुद्रराजतनयां श्रीरङ्गधामेश्वरीम् दासीभूत समस्त देववनितां लोकैक दीपांकुराम् श्रीमन्मंदकटाक्ष लब्ध विभवत् ब्रहोंद्र गंगाधराम् त्वां त्रैलोक्यकुटुंबिनीं सरसिजां वंद मुकुंदप्रियाम् । मातर्नमामि कमले कमलायताक्षिं श्रीविष्णु हृत्कमलवासिनि विश्वमातः क्षीरोदजे कमलकोमलगर्भ गौरी लक्ष्मी प्रसीद सततं नमतां शरण्ये । फलश्रुतिः त्रिकालं यो जपेद्विद्वान् षण्मासं विजितेंद्रियः ।

Vishnu Sahasranamam

विश्वं विष्णु र्वषट्‌कारो भूतभव्य भवत् प्रभुः भूतकृद् भूतभृद्भावो भूतात्मा भूतभावनः । पूतात्मा परमात्मा च मुक्तानां परमांगतिः अव्ययः पुरुषः साक्षी क्षेत्रज्ञोऽक्षर एवच । योगो योगविदां नेता प्रधान पुरुषेश्वरः नारसिंहवपुः श्रीमान् केशवः पुरुषोत्तमः । सर्वः शर्वः शिवथ्स्साणुः भूतादिर्निथि रव्ययः संभवो भावनो भर्ता प्रभवः प्रभुरीश्वरः ।

Vindhyeshwari Aarti

सुन मेरी देवी पर्वतवासिनि, तेरा पार न पाया ॥ पान सुपारी ध्वजा नारियल, ले तेरी भेंट चढ़ाया ॥ सुवा चोली तेरे अंग विराजै, केशर तिलक लगाया। नंगे पांव तेरे अकबर जाकर, सोने का छत्र चढ़ाया।।

Lakshmi Chalisa

यही मोर अरदास, हाथ जोड़ विनती करूँ । सबविधि करौ सुवास, जयजननि जगदंबिका ॥ सिन्धु सुता मैं सुमिरों तोही। ज्ञान बुद्धि विद्या दे मोही ॥ तुम समान नहीं कोई उपकारी। सब विधि पुरवहु आस हमारी ।। जय जय जय जननी जगदम्बा। सबकी तुम ही हो अवलम्बा ॥ तुम हो सब घट घट के वासी। विनती यही हमारी खासी ॥ जग जननी जय सिन्धुकुमारी। दीनन की तुम हो हितकारी ॥

Maa Lakshmi Aarti

जय लक्ष्मी माता मैया जय लक्ष्मी माता, तुमको निशदित सेवत, मैया जी को निशदित सेवत,हर विष्णु धाता। || ॐ जय लक्ष्मी माता || ब्रह्माणी रूद्राणी कमला, तू ही है जग माता, मैया तू ही है जग माता | सूर्य चन्द्रमा ध्यावत, सूर्य चन्द्रमा ध्यावत, नारद ऋषि गाता। || ॐ जय लक्ष्मी माता ||

Maa Saraswati Aarti

आरती करूं सरस्वती मातु, हमारी हो भव भय हारी हो। हंस वाहन पदमासन तेरा, शुभ्र वस्त्र अनुपम है तेरा। रावण का मन कैसे फेरा, वर मांगत वन गया सबेरा। आरती श्री सरस्वती जी की यह सब कृपा तिहारी, उपकारी हो मातु हमारी हो।

Saraswati Chalisa

जय श्रीसकल बुद्धि बलरासी । जय सर्वज्ञ अमर अविनाशी ॥ जय जय जय वीणाकर धारी। करती सदा सुहंस सवारी ॥ रूप चर्तुभुजधारी माता। सकल विश्व अन्दर विख्याता ॥ जग में पाप बुद्धि जब होती। तबही धर्म की फीकी ज्योति ॥

Maa Gayatri Aarti

ज्ञान दीप और श्रद्धा की बाती, सो भक्ति ही पूर्ति करै जहं घी की। || आरती श्री गायत्री जी की || मानस की शुचि थाल के ऊपर, देवि की जोति जगै, जहं नीकी। || आरती श्री गायत्री जी की || शुद्ध मनोरथ के जहां घण्टा, बाजें करें पूरी आसहु ही की। || आरती श्री गायत्री जी की ||

Maa Gayatri Chalisa

हंसारूढ़ पितम्बर धारी। स्वर्ण कांति शुचि गगन बिहारी ॥ पुस्तक, पुष्प, कमण्डलु, माला। शुभ्र वर्ण तनु नयन विशाला ॥ ध्यान धरत पुलकित हिय होई। सुख उपजत दुःख-दुरमति खोई ॥ कामधेनु तुम सुर तरु छाया। निराकार की अद्भुत माया ॥

Bhairav Chalisa

कृष्ण रूप तन वर्ण विशाला। पीकर मद रहता मतवाला ॥ रुद्र बटुक भक्तन के संगी। प्रेत नाथ भूतेश भुजंगी ॥ त्रैल तेश है नाम तुम्हारा। चक्र तुण्ड अमरेश पियारा ॥ शेखरचंद्र कपाल बिराजे । स्वान सबारी पै प्रभु गाजे ॥ शिव नकुलेश चण्ड हौ स्वामी। बैजनाथ प्रभु नमो नमामी ॥ अश्वनाथ क्रोधेश बखाने। भैरों काल जगत ने जाने ॥

KALI CHALISA

जय गणेश जय शारदे। जय महेश जय मेश। जय समीर सुत जय सदा स्वतन्त्र भारत देश ॥ परम भक्त बजरंग के माँ काली के भक्त। माँ तारा के भजन से भयउ सिद्धकवि 'मत्त' ॥ जय जय सीता राम के मध्य वासिनी अम्ब। देहु दर्श जगदम्ब अब करो न मातु बिलम्ब ॥

Maa Kali Aarti

अम्बे तू है जगदम्बे काली जय दुर्गे खप्पर वाली, तेरे ही गुन गाये भारती। ओ मैया हम सब उतारें तेरी आरती । माता तेरे भक्त जनों पर भीड़ पड़ी है भारी, भीड़ पड़ी है भारी। दानव दल पर टूट पड़ो माँ करके सिंह सवारी, माँ करके सिंह सवारी। सौ सौ सिंहों से बलशाली अष्ट भुजाओ वाली। दुखियों के दुःख को निवारती | ओ मैया हम सब उतारें तेरी आरती।

Visnu Chalisa

नमो विष्णु भगवान् खरारी। कष्ट नशावन अखिल बिहारी ॥ प्रबल जगत में शक्ति तुम्हारी। त्रिभुवन फैल रही उजियारी ॥ सुन्दर रूप मनोहर सूरत। सरल स्वभाव मोहनी मूरत ॥ तन पर पीताम्बर अति सोहत । बैजन्ती माला मन मोहत ॥

Om Jai Jagdish Aarti

ओ३म् जय जगदीश हरे, स्वामी जय जगदीश हरे । भक्त जनन के संकट, भक्त जनन के संकट क्षण में दूर करे। ओ३म् जय जगदीश हरे || जो ध्यावे फल पावे दुख विनसे मन का, ख विनसे मन का। सुख सम्पत्ति घर आवे कष्ट मिटे तन का। ओ३म् जय जगदीश हरे ||

Vindeshwari Chalisa

नमो नमो विन्ध्येश्वरी, नमो नमो जगदम्ब। सन्त जनों के काज में करती नहीं विलम्ब ।। जय जय जय विन्ध्याचल रानी। आदि शक्ति जग विदित भवानी ॥ सिंहवाहिनी जय जगमाता। जय जय जय त्रिभुवन सुखदाता ॥

Krishna Aarti

परमानन्द मुरारी मोहन गिरधारी। जय रस रास बिहारी जय जय गिरधारी। कर कंकन कटि सोहत कानन में बाला। मोर मुकुट पीताम्बर सोहे बनमाला दीन सुदामा तारे दरिद्रों के दुख टारे।

Krishna Chalisa

बंशी शोभित कर मधुर, नील जलद तन श्याम। अरुण अधर जनु बिम्ब फल, नयन कमल अभिराम ॥ पूर्ण इन्द्र अरविन्द मुख, पीताम्बर शुभ साज। जय मनमोहन मदन छवि, कृष्ण चन्द्र महाराज ॥ जय यदुनन्दन जय जगवन्दन। जय वसुदेव देवकी नन्दनं ॥ जय यशुदा सुत नन्द दुलारे। जय प्रभु भक्तन के दृग तारे ॥

Ram Chalisa

निशि दिन ध्यान धेरै जो कोई। ता सम भक्त और नहिं होई ॥  ध्यान धरे शिवजी मन माहीं। ब्रह्मा इन्द्र पार नहिं पाहीं ॥  जय जय जय रघुनाथ कृपाला। सदा करो सन्तन प्रतिपाला ॥ 

Lord Shiva Aarti

ॐ जय शिव ओंकारा, भज हर शिव ओंकारा।  ब्रह्मा, विष्णु, सदाशिव, ब्रह्मा, विष्णु, सदाशिव, अर्द्धाङ्गी धारा। ॐ जय शिव ओंकारा एकानन चतुरानन पंचानन राजे, स्वामी पंचानन राजे।  हंसासन गरुड़ासन, हंसासन गरुड़ासन वृषवाहन साजै। ॐ जय शिव ओंकारा

Maa Durga Aarti

ॐ जय अम्बे गौरी, मैया जय श्यामा गौरी। तुमको निशि दिन ध्यावत, मैया जी को निशि दिन ध्यावत हरि ब्रह्मा शिव री ॥ ॐ जय अम्बे गौरी ||

Durga Chalsa Lyrics

नमो नमो दुर्गे सुख करनी। नमो नमो अम्बे दुःख हरनी ॥

निरंकार है ज्योति तुम्हारी। तिहूं लोक फैली उजियारी ॥

शशि लिलार मुख महा विशाला। नैत्र लाल भृकुटी विकराला ॥

रूप मातु को अधिक सुहावे। दरश करत जन अति सुख पावे ॥

Ganesh Chalisa in Tamil

ஜெய் ஜெய் ஜெய் கணபதி கணராஜு. செவ்வாய் கிரகம் பூரணம் செய்ய உகந்தது: முந்திரி. ஜெய் கஜபதன் சதன், மகிழ்ச்சியை அளிப்பவர். ஞானத்தை உருவாக்கியவர் விஸ்வ விநாயகர். வளைந்த தண்டு, சுத்தமான தண்டு, இனிமையானது. திலக் ட்ரிபுண்ட் பால் மன் பவன்

Ganesh Chalisa in Telugu

జై జై జై గణపతి గణరాజు. అంగారకుడిని పూరించడానికి శుభప్రదం: జీడిపప్పు. జై గజబదన్ సదన్, ఆనందాన్ని ఇచ్చేవాడు. విశ్వ వినాయకుడు జ్ఞానం యొక్క సృష్టికర్త. వంగిన ట్రంక్, శుభ్రమైన ట్రంక్, ఆహ్లాదకరమైనది. తిలక్ త్రిపుండ్ భాల్ మాన్ భవన్

Ganesh Chalisa in Odia (Oriya)

ଜୟ ଜୟ ଜୟ ଗଣପତି ଗଣାରାଜୁ | ମଙ୍ଗଳ ଭରିବା ପାଇଁ ଶୁଭ: କାଜୁ ବାଦାମ | ଜୟ ଗଜାବଦନ ସଦାନ, ସୁଖ ପ୍ରଦାନକାରୀ | ଜ୍ଞାନ ବିନୟାକା ଜ୍ଞାନର ସୃଷ୍ଟିକର୍ତ୍ତା | ବକ୍ର ଟ୍ରଙ୍କ, ସଫା ଟ୍ରଙ୍କ, ସୁଖଦ | ତିଲକ ତ୍ରିପୁଣ୍ଡ ଭାଲ ମ୍ୟାନ୍ ଭବନ।

Ganesh Chalisa in Gujrati

જય જય જય ગણપતિ ગણરાજુ. મંગળ ભરવા માટે શુભઃ કાજુ. જય ગજબદન સદન, સુખ આપનાર. વિશ્વ વિનાયક શાણપણના સર્જક. વક્ર થડ, સ્વચ્છ થડ, સુખદ. તિલક ત્રિપુંડ ભાલ મન ભવન ॥

Ganesh Chalisa in Hindi

जय जय जय गणपति गणराजू । मंगल भरण करण शुभः काजू ॥ जै गजबदन सदन सुखदाता । विश्व विनायका बुद्धि विधाता ॥ वक्र तुण्ड शुची शुण्ड सुहावना । तिलक त्रिपुण्ड भाल मन भावन ॥

108 Mantra of Ganesh

|| ॐ नमो गणपतीये नमो नमः, ॐ नमो वक्रतुंडया नमो नमः, ॐ नमो एक दात असलेले नमो नमः, ॐ नमो काळे-गुलाबी डोळे नमो नमः, ॐ नमो हत्तीच्या चेहऱ्याकडे नमो नमः, ॐ नमो लंबोदराय नमो नमः, ॐ नमो विकटाया नमो नमः, ॐ नमो विघ्नराजय नमो नमः, ॐ नमो धुरकट रंगासाठी नमो नमः, ॐ नमो भालचंद्र नमो नमः, ॐ नमो विनायकया नमो नमः ||

Rainbow Story

RAINBOW is a phenomenon that emerges only when the Earth meets the sky, as rains fall unconditionally. It occurs when the environment is filled with happiness, much like the arrival of a cherished guest. Just as someone special has come, the rainbow appears as a welcoming embrace.

Ram Chalisa

श्री रघुबीर भक्त हितकारी । सुनि लीजै प्रभु अरज हमारी ॥ निशि दिन ध्यान धरै जो कोई । ता सम भक्त और नहिं होई ॥ ध्यान धरे शिवजी मन माहीं । ब्रह्मा इन्द्र पार नहिं पाहीं ॥

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